मार्च 05, 2010

ज़िन्दगी मुस्कराती रहे


भोर की सुहानी किरणें
दुलरा कर उठाती रहे
चढ़ते सूरज की रोशनी
क़िस्मत आपकी चमकाती रहे

शाम की सुर्ख लालिमा
जीवन में नये रंग लाती रहे
दिल से यही दुआ है हरदम
आपकी ज़िन्दगी मुस्कराती रहे

हवाओं की रुन-झुन भरे-
जीवन में मधुर संगीत
चन्द्र की चांदनी हुलस-हुलस-
लिखे आपके लिए सुख के गीत
मंजिलें खुद बढ़ के चूमे क़दम आपके
राहें पग-पग पर फूल बिछाती रहे
दिल से यही दुआ है हरदम
आपकी ज़िन्दगी मुस्कराती रहे
मन कोयल कुहुक-कुहुक गाये
खुशियाँ पल-पल साए में आये
यश का फ़लक हो बाजू में
समृधियाँ शीश झुकाती रहे
दिल से यही दुआ है हरदम
आपकी ज़िन्दगी मुस्कराती रहे


मेरी पुस्तक "दो बूँद समुद्र के नाम "से

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